हकलाना , तुतलाना रोग एक असभ्य रोग है इस रोग को ठीक करने के लिए कोई अलोपेथिक
दवाई मोजूद नही है इसको ठीक करना मुस्किल काम नही है मगर तोड़ा लंबा ज़रूर है
इसके रोगिओ को हिमालयण बेरी जूस की 1-1 चमच दवा सुबह खाली पेट ओर रत को सोते सम्य 3 माह तक लेनी है
बेध्यनाथ की संख पुष्पी 2-2 चमच खाना खाने के बाद दोनो टाइम लेनी है
इसके इलावा
बच्चे के लिए * बच्चे को एक ताजा हरा आँवला रोज चबाने के लिये दें। बच्चे से कहें कि पूरा आँवला वह चबा कर खा ले। इससे बच्चे की जीभ पतली हो जायेगी और उसके मुख की गर्मी भी समाप्त हो जायेगी।
ASSOCIATEPRODUCT LIST & PRICE HERE
बच्चे का तुतलाना और हकलाना बन्द हो जायेगा।
बड़ों के लिए * बादाम गिरी 7 और काली मिर्च 7 लेकर कुछ बूंद पानी में घिस कर चटनी बना लें और उसमें थोड़ी-सी मिश्री मिला लें तथा रोगी को सुबह कुछ भी खाने से पहले चटा दें। नियमित रूप से लगभग एक या दो माह तक ऐसा करें। हकलाना और तुतलाना समाप्त हो जाता है
दवाई मोजूद नही है इसको ठीक करना मुस्किल काम नही है मगर तोड़ा लंबा ज़रूर है
इसके रोगिओ को हिमालयण बेरी जूस की 1-1 चमच दवा सुबह खाली पेट ओर रत को सोते सम्य 3 माह तक लेनी है
बेध्यनाथ की संख पुष्पी 2-2 चमच खाना खाने के बाद दोनो टाइम लेनी है
इसके इलावा
बच्चे के लिए * बच्चे को एक ताजा हरा आँवला रोज चबाने के लिये दें। बच्चे से कहें कि पूरा आँवला वह चबा कर खा ले। इससे बच्चे की जीभ पतली हो जायेगी और उसके मुख की गर्मी भी समाप्त हो जायेगी।
ASSOCIATEPRODUCT LIST & PRICE HERE
बच्चे का तुतलाना और हकलाना बन्द हो जायेगा।
बड़ों के लिए * बादाम गिरी 7 और काली मिर्च 7 लेकर कुछ बूंद पानी में घिस कर चटनी बना लें और उसमें थोड़ी-सी मिश्री मिला लें तथा रोगी को सुबह कुछ भी खाने से पहले चटा दें। नियमित रूप से लगभग एक या दो माह तक ऐसा करें। हकलाना और तुतलाना समाप्त हो जाता है
No comments:
Post a Comment
अगर किसी भयंकर रोग से ग्रस्त हैं व परेशान हैं तो हताश होने की कोई जरूरत नही है।हम यहां यथा संभव सभी रोगों का उपचार लिख रहे है।आप अपने हथ से दवा बना कर अपने रोग को जड मूल से नष्ट कर सकते है। अगर आपको दवा बनाने में कोई परेशानी है तो हमसे ओर्डर पर भी बनवा सकते है। इस बाक्स मे अपनी बिमारी के बारें में लिखें।
अगर कोई गुप्त बात हो तो हमारे को मेल में लिखें
नोट:हमारी साईट के बारे में अपने अनुभव जरूर लिखें
We welcome your feedback, suggestions and comments about our Website.
Thanks Again
Manoj Yogi
Email-myogi581@gmail.com